मीरजापुरः प्रदेश के प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार ने आज जनपद भ्रमण के दौरान मण्डलीय जिला चिकित्सालय में पहुँचकर विभिन्न वार्डो इमरजेंसी कक्ष एवं डेंगू वार्ड का निरीक्षण किया. निरीक्षण के दौरान इमरजेंसी वार्ड में आये हुये मरीजों व उनके परिजन से वार्ता कर इलाज व्यवस्था के बारे में जानकारी प्राप्त की तथा विभिन्न चिकित्सक कक्ष में भी जाकर चिकित्सकों के द्वारा पंजीकृत किये गए मरीज रजिस्टर आदि का निरीक्षण किया गया तथा निर्देशित किया गया कि आने वाले मरीजों को भली भाति देखकर उनका इलाज किया गया जाय तथा मरीजों के साथ सदाचार भी करें. तदुपरान्त प्रमुख सचिव ने एस0आई0सी0 एवं प्राचार्य मेडिकल कॉलेज से अस्पताल में स्थित सुविधाओं/उपकरणों आदि के बारे में जानकारी प्राप्त की. प्रमुख सचिव द्वारा डेंगू वार्ड में पहुँकर भर्ती मरीजों से वार्ता की गयी तथा मिल रही सुविधाओं के बारे में जानकारी प्राप्त की गयी.
तदुपरान्त जिला महिला अस्पताल में पहुँचकर प्रसूती वार्ड के0एम0सी0 रूम तथा शिशु गहन चिकित्सा इकाई का निरीक्षण किया गया. के0एम0सी0 के बारे में जानकारी करने पर बताया गया कि तकनीकी स्टाफ न होने के कारण संचालित नहीं है. जिस प्रमुख सचिव ने कहा कि व्यवस्था कर उसे संचालित किया जाए. नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई में जाकर भर्ती नवजात शिशुओं को देखा तथा भर्ती के पश्चात रिलीव किए गए परिजनों से डाक्टरों के द्वारा प्रतिदिन वार्ता कर ली जाने वाली जानकारी रजिस्टर को भी देखा. रजिस्टर में बच्चों के भर्ती उनके वजन तथा रिलीविंग डेट पर बच्चों का वजन आदि के बारे में जानकारी प्राप्त करते हुए निर्देशित किया कि जब तक बच्चा स्वस्थ्य न हो जाए तब तक उसे गहन निगरानी किया जाए.
उन्होने कहा कि रिलीव करने के बाद भी एक माह तक प्रतिदिन बच्चों के परिजन से वार्ता उसके स्वास्थ्य के बारे में जानकार जाए. साथ ही कहा कि इस वार्ड में व्यवस्था सुधारने की आवश्यकता हैं. उन्होंने बताया कि मेडिकल कॉलेज स्थापित होने के बाद यह जिला अस्पातल मेडिकल कॉलेज में शामिल होने के उपरानत उसमें क्या व्यवस्थाए चेंज करना है जिस चीज अतिरिक्त आवश्यकता हैं इसी को देखने के लिये वें स्वंय आए हैं. मेडिकल कालेज से सम्बद्ध 200 बेड का एक अस्पताल बनना है जो अभी तक चालू नहीं हो पाया है इसका कारण है कि महिला अस्पताल को मेडिकल कॉलेज में शिफ्ट करना हैं.
इसके अलावा उन्होंने कहा कि जिस भवन में डेंगू वार्ड स्थापित किया गया हैं. वह भवन कुछ तकनीकी जांच चलने के कारण अपूर्ण हैं. जिलाधिकारी से चर्चा की गयी है कि इस भवन को किस तरह से पूर्ण कराते हुए सम्मिलित किया जाए. उन्होंने जल्द ही इस पर कार्यवाही पूर्ण कर ली जायेगी. उन्होंने कहा कि डेंगू वार्ड में निरीक्षण के दौरान पाया गया इलाज ठीक चल रहा है. चिकित्सकों को यह भी निर्देशित किया गया कि मरीजों को किसी प्रकार असुविधा न होने पायें. तत्तपश्चात प्रमुख सचिव द्वारा मेडिकल कॉलेज के आडीटोरियम में बैठक कर मेडिकल कॉलेज के आगे के निर्माण एवं अन्य व्यवस्थाओं के बारे में चर्चा की.
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी श्री लक्ष्मी वीएस, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ राजेंन्द्र प्रसाद, प्राचार्य मेडिकल कालेज डॉ आर0बी0 कमल, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक, सहित स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी उपस्थित रहें.
रिपोर्ट- भोलानाथ यादव