वाराणसीः काशी मणिकर्णिका घाट पर आज दोपहर 12:00 बजे से मसानी की होली खेली जा रही है। आंख से धधकती चिताओं के बीच चिता भस्म से यह होली काशी की प्राचीन पहचान है। इस ऐतिहासिक क्षण का साक्षी बनने के लिए देश-विदेश से लोग जुटे हैं।
काशी के मणिकर्णिका घाट पर मालूम पड़ता है कि देव, गंधर्व, किन्नर नगर बंधु, भूत, प्रेत पिचाश बेताल मानव पूरा संसार उमड़ पड़ता है। हजारों काशी वासी इसके साक्षी बने रहे हैं।
हर- हर बम -बम का उद्घोष और महादेव के जप से पतित पावनी गंगा की लहरें भी बोल रही है। देखने में ऐसा प्रतीत होता है कि एक लाख से ज्यादा जनता की भीड़ उमड़ पड़ी है।