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मीरजापुर | तीन माह का कार्यकाल पूरा होने पर मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ संजीव कुमार सिंह ने मेडिकल कॉलेज के सभागार में आयोजित पत्रकार वार्ता कर मंडलीय /जिला अस्पताल के बारे में एक से बढ़कर एक खुबियां जानकारियां उपलब्धिया गिनाई चंदौली निवासी बीएयू के प्रोडक्ट रहे डॉ संजीव कुमार ने कहा, कि 'यहां सैकड़ों की संख्या में अध्ययनरत स्टूडेंट जब अपनी पढ़ाई पूर्ण कर यहां से जायें तो सीना तानकर कह सके कि वह मिर्जापुर का प्रोडक्ट है ।
तीन माह पूर्व मां विंध्यवासिनी स्वशासी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल का कार्यभार सम्हाले डॉ संजीव कुमार सिंह ने दावे के साथ कहा कि इस अवधि में न सिर्फ मेडिकल कॉलेज के शैक्षणिक कार्यों में व्यापक सुधार हुआ है, बल्कि मेडिकल कॉलेज से सम्बद्घ मंडलीय अस्पताल में उल्लेखनीय कार्य किए गए हैं। इसके लिए उन्होंने स्थानीय प्रबुद्धजनों के अलावा जनपद की सांसद /केंद्रीय राज्यमंत्री अनुप्रिया पटेल के प्रति विशेष आभार प्रकट किया, जिनके अनुरोध पर 'अमृत फार्मेसी' योजना लागू करने की दिशा में मेडिकल कॉलेज ने कदम बढ़ा दिया है।
इस योजना के बारे में डॉ संजीव ने कहा कि इसमें सर्जिकल उपकरण सस्ते दर पर मरीजों को मिल सकेंगे। किसी सर्जिकल केस में जहाँ बाहर से तीन लाख रुपए के उपकरण खरीदने पड़ते हैं, वहीं इस योजना के लागू हो जाने पर एक चौथाई रुपए यानी 75 हजार के करीब मरीज को व्यय करने पड़ेंगे।:
प्रिंसिपल डॉक्टर संजीव ने कहा कि जब उन्होंने कार्यभार ग्रहण किया था, तब इमरजेंसी वार्ड की स्थिति अत्यंत खराब थी, जिसे सुधारने का बीड़ा उन्होंने उठाया और अब स्थिति यह है कि इमरजेंसी के मरीजों का हर पैथालॉजी टेस्ट अस्पताल में ही हो रहा है। इसके लिए 24 घण्टे पैथालॉजी सेंटर को शुरू किया गया।
डॉ सिंह ने कहा कि इमरजेंसी में बीपी मशीन तक नहीं थी, अब 10 मशीनें उपलब्ध हैं। उन्होंने कहा कि इमरजेंसी के लिए 6 बेड का आईसीयू वार्ड अलग से शुरू करने की कार्रवाई तेजी पर है। इसमें इलेक्ट्रो लाइट जांच में कम्प्लीट ब्लड टेस्ट, हेपिटाइटिस, डेंगू, मलेरिया, टायफाइड के अलावा सोडियम एवं पोटैशियम तक की जांच हो सकेगी। उन्होंने रेडियोलॉजिस्ट की कमी दूर करने पर कार्रवाई की बात कही तथा कहा कि एनेस्थीसिया के दो डॉक्टर उपलब्ध हैं।
उन्होंने कहा कि कुंभ मेला भी नज़र में रखा गया : कहा कि प्रदेश सरकार की मंशा को देखते हुए 45 बेड का कोल्ड वेब वार्ड इसलिए बनाया गया था ताकि जरूरत पड़ने पर उसमें मरीजों को रखा जा सके। उन्होंने खुशी जताई कि इसकी जरूरत तो नहीं पड़ी लेकिन इस कोल्ड वेब वार्ड को एपेडेमिक वार्ड में आगे चलकर बदल दिया जाएगा ताकि किसी सीजन में संक्रामक रोगों के प्रसार में इस वार्ड का उपयोग किया जा सके।
: प्रिंसिपल डॉक्टर सिंह ने बताया कि पर्चा काउंटर के पीछे 25 बेड का रैन बसेरा बनाया गया है। जहां अस्पताल में भर्ती मरीजों के परिजन रूक सकते हैं। पत्रकारों द्वारा 5 माह से कैंसर जांच मशीन के कार्य न करने पर जब प्रिंसिपल का ध्यान आकृष्ट किया गया तब वे गंभीर हुए तथा संबंधित डॉक्टर को निर्देशित किया कि इसे तत्काल चालू किया जाए।
प्रिंसिपल ने कहा कि महिला चिकित्सक से लेकर नर्स, स्टूडेंट तथा महिला तीमारदारों की सुरक्षा पर उनकी विशेष दृष्टि है। इस संबन्ध में पुलिस अधीक्षक से उनकी बात हुई है। इमरजेंसी वार्ड की ओर एक और पुलिस चौकी के अलावा चहारदीवारी बनाने का कार्य किया जाएगा। : डॉक्टर संजीव ने कहा कि प्राकृतिक ऑक्सीजन प्लांट में जो खराबी है, उसे दुरुस्त किया जा रहा है। मरीजों को रेफर करने पर नियन्त्रण किया गया है। उन्होंने कहा कि मंडलीय अस्पताल जीवन रक्षक केंद्र है न कि 'मछली बाजार' है।
उन्होंने कहा कि जिन उम्मीदों के साथ उन्हें यहां बुलाया गया है, उसे उत्कृष्ट रूप देने में वे हर संभव कदम उठाएंगे। कुछ अवांछित तत्व जो इसे मछली बाजार बनाना चाहते थे, वे हतोत्साहित हुए हैं। : उन्होंने कहा कि मेडिकल कॉलेज की फैक्लटी में 6 नए तथा 13 लोग पदोन्नत हुए हैं। उन्होंने कहा कि मेडिकल कॉलेज में शैक्षणिक स्तर इतना उच्च किया जाएगा ताकि यहां का स्टूडेंट सीना तान कर कह सकें कि
वह मिर्जापुर का प्रोडक्ट है। उल्लेखनीय है कि 11 फरवरी को प्रिंसिपल के कार्यकाल का तीन माह पूरा हुआ है। इस उपलक्ष्य में वे आम जनता के सामने मीडिया के माध्यम से अपने किए गए कार्यों एवं प्लानिंग का लेखा-जोखा लेकर उपस्थित हुए।