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वाराणसी:  अवधेश राय की लगभग 31 साल पूर्व हुए चर्चित हत्याकांड मुकदमे में सुनवाई के लिए सोमवार को पूर्व विधायक अजय राय कोर्ट पहुंचे। विशेष न्यायाधीश (एमपी-एमएलए) सियाराम चौरसिया की अदालत में आरोपित बाहुबली मुख्तार अंसारी की ओर से जिरह किया जाना था. जिरह कि कार्यवाही के दौरान कुछ प्रश्न पूछने के बाद मुख्तार अंसारी के अधिवक्ता ने मुख्य गवाह से जिरह करने से इंकार कर दिया।


जिस पर अदालत ने उनके जिरह का अवसर समाप्त करते हुए अगले गवाह को तलब करने का आदेश देते हुए सुनवाई के लिए अगली तिथि 2 जून नियत कर दी।
बता दें कि तीन अगस्त 1991 को लहुराबीर क्षेत्र में स्थित आवास के गेट पर ही अवधेश राय के ऊपर ताबड़तोड़ फायरिंग कर उनकी हत्या कर दी गई थी।


अजय राय ने मुख्तार अंसारी,पूर्व विधायक अब्दुल कलाम, भीम सिंह, कमलेश सिंह व राकेश न्यायिक समेत अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था। इस मामले में सोमवार को पूर्व विधायक अजय राय अपने अधिवक्ता अनुज यादव व अधिवक्ता विकास सिंह के जरिए कड़ी सुरक्षा में अदालत में पेश हुए थे। जहां उनसे इस हत्याकांड में बचाव पक्ष की ओर से जिरह की कार्यवाही की जानी थी। लेकिन जिरह की कार्यवाही शुरू होते ही कुछ प्रश्नों को पूछने के बाद उन्होंने जिरह से इंकार कर दिया।


उन्होंने दलील दिया की मेरे प्रश्नों पर एलाऊ और डिस एलाऊ नही किया गया। जिसके चलते अब मैं जिरह की कार्यवाही आगे नहीं करूंगा। इस पर अदालत ने अपने आदेश में कहा की पूर्व में ही इस पर आदेश किया जा चुका है। ऐसे में जिरह नही करने पर जिरह का अवसर समाप्त किया जाता है। अदालत में मुकदमे की कार्यवाही समाप्त होने के बाद पूर्व विधायक अजय राय को कड़ी सुरक्षा में लेकर पुलिस वापस लौट गई।

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