
धरती पर जब कोई संकट आता है भगवान किसी ने किसी रूप में लोगों को आगाह करने के लिए संदेश पहुंचाते हैं। देश सहित पूरे विश्व में पर्यावरण प्रदूषण एक बड़ी चुनौती है। शनिवार को नमामि गंगे व श्री काशी मराठा गणेश उत्सव समिति ने संयुक्त रूप से 'गणपति बप्पा' के पर्यावरण संरक्षण के संदेश को जन-जन तक पहुंचाने का आवाह्न किया । ठठेरी बाजार स्थित शेर वाली कोठी में काशी के 'लालबाग के राजा' प्रांगण में सदस्यों ने कपड़े के थैले एवं पौधे लेकर बप्पा की ओर से पर्यावरण संरक्षण की अपील की ।
नमामि गंगे की ओर से पौधे एवं कपड़े के थैले वितरित करके ज्यादा से ज्यादा पौधारोपण, सिंगल यूज पॉलिथीन का उपयोग न करने, जल संरक्षण एवं प्रकृति से प्रेम सद्भाव प्रदर्शित करने का आग्रह किया गया।आयोजन के मुख्य अतिथि सीआरपीएफ के कमांडेंट आर. एस. बालापुरकर सपत्नीक उपस्थित रहे । नमामि गंगे काशी क्षेत्र के संयोजक व नगर निगम के स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर राजेश शुक्ला ने कहा कि भगवान गणेश को ज्ञान और कल्याण का प्रतीक माना जाता है।
पर्यावरण संरक्षण पर ध्यान केंद्रित करते हुए इस त्यौहार को मनाएं जिससे एक अधिक टिकाऊ और समृद्ध राष्ट्र के निर्माण में योगदान मिल सके । आयोजन में प्रमुख रूप से नमामि गंगे काशी क्षेत्र के संयोजक व नगर निगम के स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर राजेश शुक्ला, श्री काशी मराठा गणेश उत्सव समिति के संयोजक चक्रवर्ती विजय नावड़, अध्यक्ष आनंदराव सूर्यवंशी, महामंत्री अन्ना मोरे, वरिष्ठ संरक्षक संतोष पाटिल, अशोक शिंदे, कोषाध्यक्ष हनुमान शिंदे एवं सैकड़ो की संख्या में श्रद्धालु उपस्थित रहे ।